भगवान श्री कृष्ण खुद लेकर आये थे ये पेड़, घर में लगाने से आती है सुख समृद्धि , कभी नहीं होती धन की कमी

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आपने पारिजात के पेड़ के बारे में तो काफी कुछ सुना होगा। हिन्दू धर्म में इसकी काफी मान्यता है। कहते है की भगवान श्री कृष्ण खुद धरती पर इस पेड़ को लेकर आये थे। पौराणिक मान्यताओं के मुताबिक इस पेड़ को हर मनोकामना पूर्ण करने वाला पेड़ माना गया है। इस पेड़ को पुराणों में भी काफी पवित्र माना गया है।

पारिजात के पेड़ की कहानी भी काफी रोचक है समुन्द्र मंथन के दौरान ये पेड़ निकला था जिसको कल्प वृक्ष या पारिजात का पेड़ भी कहा गया है। समुन्द्र मंथन के दौरान अन्य रत्न और अमृत भी निकला था। समुन्द्र मंथन के बाद देवताओ के हिस्से में ये पेड़ आया था और इसको स्वर्ग में स्थापित किया गया था।

भगवान् श्री कृष्ण ने पत्नी सत्यभामा के कहने पर पारिजात के वृक्ष धरती पर लाए थे लेकिन इंद्र देव ने पारिजात को धरती पर लेकर जाने से मना कर दिया था तब भगवान् श्री कृष्ण ने इंद्र को पराजित करके इस पेड़ को धरती पर लेकर आये थे। माना जाता है की पारिजात के वृक्ष में सभी मनोकामना पूर्ण करने की शक्ति होती है। इसके साथ ही पारिजात का वृक्ष माता लक्ष्मी को भी काफी अधिक प्रिय है। इस लिए पारिजात की पूजा की जाती है

पारिजात की पूजा कैसे की जाती है

पारिजात के पौधे के पूजा करने से घर में सुख शांति एवं धन सम्पदा बनी रहती है ये एक पवित्र वृक्ष है। साथ में ही घर में पति पत्नी के बीच रिश्ते मधुर होते है पारिजात की पूजा के लिए सबसे पहले पारिजात का पौधा साफ सुथरे स्थान पर होना जरुरी है पारिजात वृक्ष की पूजा सुबह के समय सूर्योदय के समय करना अच्छा माना जाता है। पूजा के लिए पारिजात के पौधे के पास आसान या चौकी बिछाये और पौधे के सामने दीपक , धुप , प्रसाद सामग्री आदि रखी जानी होती है इसकी पूजा महिलाओ के द्वारा की जाती है और इसके लिए व्रत भी रखा जाता है

पारिजात की पूजा के लाभ

पारिजात वृक्ष की पूजा करने से घर में सुख शांति एवं समृद्धि बनी रहती है साथ में घर में पारिवारिक माहौल अच्छा रहता है। घर में बुरी शक्तिया नजदीक नहीं रहती है। साथ में मानसिक शांति बनी रहती है। शुक्रवार के दिन पारिजात की पूजा को विशेष माना जाता है। कलह विवादों से मुक्ति मिलती है। घर में धन का प्रवाह लगातार बना रहता है। आर्थिक स्थ्तिति मजबूत होती है। समाज में मान सम्मान में बढ़ोतरी होती है

पारिजात पूजा सामग्री

पारिजात वृक्ष की पूजा करने से पहले पारिजात के पुष्प , अक्षत, चन्दन, धुप, दीपक, फूलो की माला, मिठाई , दक्षिणा आदि पहले से प्रबंध करना उचित होता है। इसके बाद चौकी पर लाल कपड़ा बिछाकर पुष्प, चन्दन एवं अन्य सामग्री चौकी पर रखनी है। इसके बाद चंदन का लेप पारिजात को लगाया जाता है। फिर पुष्प अर्पित करके दीपक एवं धुप जलाये जाते है और पुष्प माला पहनाई जाती है। फिर मिठाई का भोग लगाया जाता है। इसके बाद पारिजात की आरती एवं मन्त्र जाप आदि करके है और दक्षिणा अर्पित करते है। पूजा करते समय ॐ पारिजाताय नमः मन्त्र का जाप करना मनोकामना को पूर्ण करता है

Chirag Yadav

Farming or Business ke topic likhne me pakad achchi khasi hai or detail me likh leta hun. Khabron par har samay najar rahti hai esliye sahi samay par aapko har khabar dene ki kaushish rahti hai. ummid hai ye kaushish aage bhi jaari rahegi.

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