केंद्र सरकार की तरफ से इस साल अलनीनो के खतरे को देखते हुए साल 2023 से 2024 के लिए गेहू की उत्पादन में बढ़ोतरी के लिए गेहू की उन्नत खेती को बढ़ावा देने का प्लान है और इस प्लान के तहत ऐसी किस्मो की बुआई करना है जो की गर्मी के प्रति सहनशील और वातावरण सिंचाई के प्रति अच्छी खासी उत्पादन क्षमता रखती हो और इसके लिए देश में कृषि वैज्ञानिक काफी लम्बे समय से इस प्रकार की किस्मो को विकसित करने में लगे हुए है। और अब इस योजना के तहत हरियाणा के करनाल में स्थित भारतीय गेहू एवं जौ अनुसन्धान केंद्र की तरफ से नई किस्मो के बीजो का वितरण शुरू होने जा रहा है
16 से 20 अक्टूबर 2023 से शुरू होगा वितरण
भारतीय गेहू एवं जौ अनुसन्धान केंद्र की तरफ से गेहू की उन्नत किस्मो का वितरण 16 से 20 अक्टूबर 2023 से शुरू होगा और इसके लिए ऑनलाइन पंजीकरण का कार्य जिन किसानो ने पहले ही पूर्ण किया है उनको बीज का वितरण होने वाला है। भारतीय गेहू एवं जौ अनुसन्धान केंद्र के निदेशक का कहना है की जिन किसानो ने पोर्टल के माध्यम से रजिस्ट्रेशन करवाया है उन किसानो को 16 से 20 अक्टूबर को उन्नत किस्मो का बीज वितरण किया जायेगा इसमें पंजाब राज्य के फाजिल्का, फिरोजपुर, फतेहगढ़, लुधियाना, भटिंडा, फरीदकोट, अमृतसर , कपूरथला , जालंधर, होशियारपुर, गुरुदासपुर, मनसा के किसानो को और 17 अक्टूबर से पंजाब के अन्य जिलों के किसानो को उन्नंत किस्म के गेहू के बीज का वितरण शुरू किया जायेगा
हरियाणा में गेहू के उन्नत बीजो का वितरण
हरियाणा के फतेहबाद, हिसार, गुरुग्राम, सिरसा, सोनीपत, यमुना नगर, अम्बाला, भिवानी, फतेहाबाद, जींद, कैथल , कुरुक्षेत्र, महेंद्रगढ़ , रेवाड़ी, सोनीपत , पानीपत, पंचकूला, पलवल में 19 अक्टूबर से 19 अक्टूबर के दौरान गेहू का उन्नत बीज उपलब्ध करवाया जायेगा
मध्य प्रदेश, बिहार, उत्तर प्रदेश एवं राजस्थान में वितरण
वही पर देश के अन्य राज्यों मध्य प्रदेश, यूपी, राजस्थान, हिमाचल प्रदेश , छत्तीसगढ़, उत्तराखंड, पश्चिमी बंगाल, बीहर एवं अन्य राज्यों के लिए 20 अक्टूबर को बीज का वितरण होगा और इसके लिए 50 रु प्रति किलो की दर से बीज का मूल्य रखा गया है
उच्च रोग प्रतिरोधक क्षमता एवं उच्च्च उत्पादन में सक्षम है गेहू की वैरायटी
भारतीय गेहू एवं जौ अनुसन्धान संसथान की तरफ से वितरित की जाने वाली ये किस्म काफी उन्नत वैरायटी है जो की अत्यधिक उच्च उत्पादन के साथ वातावरण के प्रति सहनशील एवं उच्च रोग प्रतिरोधक क्षमता के साथ है। किसानो को इससे काफी अधिक लाभ होगा और देश में गेहू उत्पादन में भी बढ़ोतरी होगी